Bareilly: किसानों का प्रदर्शन….कलेक्ट्रेट गेट पर 3 घंटे तक अड़े रहे अपनी मांगो को लेकर किसान

बरेली। शहर में एक बार फिर आए किसानों ने कलेक्ट्रेट गेट का घेराव किया।किसानों ने किसी भी कर्मचारी और अधिकारी को दफ्तर सें बाहर प्रवेश नहीं करने दिया गया। 3 घंटे तक फिलहाल कार्यालय में आवाजाही पूरी तरह से बंद हो गई है। किसानों की मांग थी कि उनकी मांगे स्वयं डीएम आकर सुने। हालांकि किसान हर दिन अलग-अलग तरीके से आंदोलन कर विरोध दर्ज करा रहे हैं। किसानों का कहना था आजादी के 75 साल बाद भी वार्ड नंबर 37 में सड़क का निर्माण नहीं हो पाया है। इससे आक्रोशित भाकियू कार्यकर्ता अपनी मांगों को लेकर ज़मीन पर बैठ गए। इस बीच डीएम के एक सप्ताह में सड़क का निर्माण कराये जाने के आश्वासन पर किसान शांत हुये। उसके बाद किसानों ने सड़क बनवाने समेत समस्याओं का ज्ञापन एडीएम सिटी सौरभ दुबे को सौंपा।इसके बाद उन्होंने धरना प्रदर्शन खत्म किया। करीब चार बजे किसान कलेक्ट्रेट गेट से हटे। इसके बाद अफसर लंच करने अपने आवास पर जा पाये।

भारतीय किसान यूनियन जिलाध्यक्ष दुर्गेश मौर्य के नेतृत्व में किसानों ने मंगलवार को धरना प्रदर्शन किया। आरोप है कि गांव परसाखेड़ा बंजरिया गरगईया उर्फ गोकिलपुर व ललपुरा व परसाखेडा गौटिया के के रहने वाले हैं। 12 सितंबर 2024 से अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठे हैं। इससे पूर्व भी गांव वालों ने दिसम्बर 2023 में नगर निगम बरेली में धरना दिया था। उस धरने में नगर निगम के अधिकारियों द्वारा आश्वासन दिया था कि समस्या का समाधान जल्द से जल्द कराया जायेगा, लेकिन पूर्व पार्षद सुखदीप कश्यप ने नगर निगम के अधिकारियों को भ्रमित करके तथा अपनी राजनीतिक पहुँच के बल पर एक नये रास्ते की कार्यवाही शुरू करा दी। उस रास्ते के बनने से ग्रामवासियों का कोई लाभ नहीं होगा और कुछ चन्द निजी व्यक्तियों तथा सुखदीप कश्यप पूर्व पार्षद का व्यक्तिगत फायदा होगा। सुखदीप कश्यप वहां फैक्ट्री चला रहा है।

नये रास्ते के निर्माण के लिये रेलवे से भी एनओसी लेनी पड़ेगी। वह रास्ता जंगल में बनेगा। जिससे माँ-बहनों की इज्जत व जान-माल का खतरा पैदा हो जायेगा। शंखा नदी होने के कारण जल भराव की भी समस्या रहेगी। नया रास्ते की दूरी लगभग एक किलोमीटर होगी तथा पुराने रास्ते की दूरी लगभग 300 मीटर होगी। पुराने रास्ते में रेलवे फाटक के पार डामर रोड पड़ी हुई है तथा सभी ग्रामों को जोड़ रही है। परसाखेड़ा बंजरिया फाटक से होकर रामपुर रोड पर 70 सालों से आना जाना है। इस रास्ते पर सड़क डालने में लागत भी कम आयेगी। इसी फाटक से होकर रेलवे स्टेशन का भी रास्ता है। रेलवे स्टेशन के कर्मचारीगण इसी रास्ते से होकर जाते हैं। पुराना रास्ता कायम करने में एक ही किसान की भूमि जा रही है। किसान अपनी सहमति से भूमि देने को तैयार है। उसकी भूमि का अधिग्रहण करके विधिक प्रक्रिया के तहत मुआवजा दिलाकर रास्ता कायम किया जाये।

एडीएम, सिटी मजिस्ट्रेट समेत अफसरों ने धरना खत्म कराने की काफी कोशिश की, लेकिन किसान नहीं माने। इसके बाद डीएम ने एक सप्ताह में सड़क का निर्माण कराये जाने का लिखित आश्वासन दिया है। डीएम का आश्वासन पत्र लेकर एडीएम सिटी सौरभ दुबे ने किसानों को बताया। इसके बाद किसान नेता माने और धरना को ज्ञापन देकर समाप्त किया। धरना प्रदर्शन में अवध गंगवार मण्डल अध्यक्ष बरेली, जसपाल सिंह फौजी मण्डल अध्यक्ष मुरादाबाद, परवेज़ आलम जिलाअध्यक्ष बदायूं सहित सैकड़ों कार्यकर्ता मौजूद रहे।

रोड़ की समस्यायों को लेकर 12 सितंबर को थाना सीबीगंज वार्ड नंबर 37 में धरना चल रहा था , इसमें किसान जमील अंसारी पुत्र बरकतुल्ला निवासी बंजरिया परसा खेड़ा के सीने में तेजी से दर्द उठा , जिसको आनन-फानन में बरेली के एक निजी अस्पताल में उपचार के लिए लेकर पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। भाकियू कार्यकर्ताओं ने प्रशासन से मुआवजा दिलाने की मांग की है।

The LaalTen
Author: The LaalTen

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